Chandauli News: कार्तिक पूर्णिमा स्नान को लेकर डीडीयू रेलवे जंक्शन पर उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़, स्वचालित सीढ़ी बंद होने से बुजुर्ग, महिलाएं सहित अन्य यात्री हुए परेशान
पीडीडीयू नगर। कार्तिक पूर्णिमा स्नान को लेकर शुक्रवार की प्रातः श्रद्धालुओं की भारी भीड़ गंगा स्नान के लिए रेलवे स्टेशन मुगलसराय से ट्रेन पकड़ते हैं। श्रद्धालु महिला, पुरुष तथा बुजुर्ग भारी संख्या में गंगा स्नान को जाते हैं। लेकिन डीडीयू जंक्शन रेल प्रशासन की लापरवाही के कारण बुजुर्ग, महिलाएं सहित अन्य यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। स्वचालित सीढ़ी के बंद होने से बुजुर्ग, महिलाएं श्रद्धालु यात्रियों को प्लेटफार्म पर आने-जाने में काफी दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है।
बताते चलें कि लोक आस्था भारतीय संस्कृति कार्तिक पूर्णिमा पर चंदौली जिले सहित पड़ोसी बिहार राज्य से वाराणसी में गंगा स्नान को जाते हैं। लेकिन पीडीडीयू जंक्शन पर बुजुर्ग यात्रियों की सुविधा के लिए लगाया गया स्वचालित सीढ़ी अक्सर बंद रहता है। इसके कारण श्रद्धालुओं को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। शुक्रवार की प्रातः काल गंगा स्नान के लिए रेलवे जंक्शन पर भक्तों की भारी भीड़ रही। लेकिन रेलवे कर्मचारी और अधिकारियों की लापरवाही के कारण बुजुर्ग महिलाओं और पुरुषों को दिक्कतों का सामना करना पड़ा। स्वचालित सीढ़ी बंद होने से बुजुर्ग, महिलाओं व बच्चो तथा अन्य यात्रियों को सीढ़ी चढ़ने उतरने में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा।
जबकि रेल मंत्री के निर्देश पर सभी यात्रियों की सुविधा के लिए स्वचालित सीढ़ी व लिफ्ट लगाया गया है। ताकि बुजुर्गों को किसी प्रकार की दिक्कतों का सामना नहीं करना पड़े। अधिकारियों व कर्मियों के लापरवाही से स्वचालित सीढ़ी सुविधा बंद होने से प्लेटफार्म पर जाने व आने वाले यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ा। रेलवे स्टेशन पर तैनात विभिन्न विभागों में तैनात कर्मचारियों को यात्रियों द्वारा स्वचालित सीढ़ी बंद होने की सूचना दी गई। उसके बाद भी स्वचालित सीढ़ी को चालू नहीं किया गया। चलने में पूरी तरह से असमर्थ यात्रियों को स्वचालित सीढ़ी से काफी ज्यादा सुविधा मिलता है। जिससे सीढ़ी के चक्कर नहीं लगाना पड़ता है। रेलवे अधिकारियों व कर्मियों के लापरवाही के कारण लोक आस्था भारतीय संस्कृति कार्तिक पूर्णिमा पर बुजुर्ग, महिलाओं प्लेटफार्म पर आने-जाने के लिए परेशानी का काफी ज्यादा सामना करना पड़ा।