पीडीडीयू नगर: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री पुलिस पर लगाम लगाने के लिए प्रदेश के अधिकारियों को भले ही कड़े निर्देश क्यों ना दे रहे हो लेकिन चंदौली पुलिस है कि अपने रवैया में बदलाव लाने को तैयार नहीं मुगलसराय कोतवाली से कुछ ही दूरी पर चर्चे में बने रहने वाला अवैध स्टैंड रेलवे स्टेशन के बाहर दिन रात अवैध वसूली चल रहा है। जनपद चंदौली के पीडीडीयू नगर में रेलवे स्टेशन के बाहर अवैध धन उगाही आटो चालकों से अवैध वसूली से रोजाना हजारों रुपए डकारने में लगे हैं ज़िम्मेदार हुक्मरान और एक बड़े हादसे को न्योता देने का काम कर रहे।
सूत्रो की माने तो ये काम तीन शिप्ट में दलालों द्वारा कराया जाता है। महिने में लाखो की वसूली किसके सह पर की जाती है ये पैसा कहा कहा जाता है। चाहे दिन हो या रात आलम यह है कि सड़कों पर ऑटो रिक्शा का जाल बना रहता है दूरदराज से आए लोग समझ नहीं पाते कि आखिर यह चल क्या रहा है लेकिन जब चीजों से भली-भांति परिचित होते हैं तो पता चलता है कि यह तो काली कमाई से यह गरम करने का खेल है।
रुपये न देने पर सड़क पर वाहन चलाना मुश्किल कर दिया जाता है। चंद कदमो की दूरी पर ही कोतवाल अपना हुंकार भरते हुए सुबह-शाम ड्यूटी बजाते है। इस काम में संबंधित थानों की बिना गठजोड़ सरेयाम वसूली संभव नहीं सूत्रों के मुताबिक वर्दी का संरक्षण की देन है कि ऑटो का आतंक सड़क के जाम के झाम से लेकर वसूली का पैमाना तय कर रहा है। आलम यह रहता है इमरजेंसी एंबुलेंस, स्कूल बस व अन्य गाड़ियां महज एक किलोमीटर की दूरी को 15 से 20 मिनट में तय करनी पड़ती है
वही ट्रैफिक पुलिस अपना चालान का कोटा पूरा करने के लिए किसी भी बाइक, टोटो, ऑटो चालकों का चालान 2,000 से 10,000 रूपए तक का निशाना बनाकर करती है। ट्रैफिक पुलिस होने का ड्यूटी ईमानदारी पूर्वक सिर्फ और सिर्फ चालान काटने के लिए निभाते चल रहे हैं। वही विभागीय पुलिसकर्मियों पर यातायात नियम लागू नहीं होता कही तीन सवारी देखने को मिलता है तो कहीं बिना हेलमेट व बिना हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट के या बिना नंबर प्लेट के इनके लिए कोई यातायात नियम कानून नहीं है।